कौशल यादव Martyr Kaushal Yadav ने हमला के दौरान अपने दस्ते का सामने से नेतृत्व किया। अपनी सुरक्षा की परवाह न करते हुए, वह गोलीबारी करते हुए पाक बंकर में जा घुसे। नजदीक से हुई घातक गोलीबारी के दौरान कौशल ने 5 पाक सैनिकों को मार गिराया। इस प्रक्रिया में वे भी घायल हो गए जुलू टॉप पर देश का तिरंगा लहराने के बाद उन्होंने सर्वोच्च बलिदान दिया। उन्हें इस बहादुरी के लिए मरणोपरांत भारत के तीसरे सर्वोच्च वीरता पुरस्कार वीर चक्र से सम्मानित किया गया।
नम हो गई मां की आंखें
हुडको में शहीद कौशल यादव को 25 वें बलिदान दिवस पर श्रद्धांजलि दी गई। इस मौके पर शहीद की मां धनवंता 84 साल भी मौजूद रहीं। उन्होंने बताया कि कौशल बचपन से ही खिलौने वाली बंदूक लेकर घूमता था। परिवार का वह लाडला बेटा था। उनके पिता रामनाथ यादव भिलाई स्टील प्लांट में नौकरी करते थे। बेटा जब शहीद हुआ, तब वे जीवित थे। बाद में उनका निधन हो गया। शहीद की पत्नी और बेटा है।
हर साल कौन याद करता है जाने वालों को
मां ने नम आंखों से कहा कि हर दिन लोग दुनिया से जा रहे हैं। हर साल कौन किसी को याद करता है। कौशल देश के लिए लड़ते हुए शहीद हुआ, इस वजह से 25 साल बाद भी लोग उसे नमन करने पहुंच रहे हैं। देश की हिफाजत करते हुए शहीद होने वाले बेटे पर गर्व है।
शहीद की पत्नी ने किया पौध रोपण
इस मौके पर शहीद की पत्नी ने पौधरोपण किया। छत्तीसगढ़ आर्मी वेलफेयर फाउंडेशन ने 700 पौधों का वितरण किया। इन पौधों को रोपने व उसे सुरक्षित रखकर शहीदों को सच्ची श्रद्धांजलि देने की बात फाउंडेशन के पदाधिकारियों ने कहा। शहीद कौशल यादव की 25 वीं शहादत दिवस पर छत्तीसगढ़ आर्मी वेलफेयर फाउंडेशन संस्था के अध्यक्ष हरप्रीत सिंह व अन्य पदाधिकारियों ने भावभीनी श्रद्धांजलि दी। इस मौके पर शहीद के बड़े भाई, रामबचन यादव, भिलाई नगर के विधायक देवेंद्र यादव, पूर्व राज्य मंत्री बदरूद्दीन कुरैशी, आईजी राम गोपाल गुरु, एसपी जितेंद्र शुक्ला, एडिशनल एसपी सत्य प्रकाश तिवारी, सुखनंदन, पूर्व विधायक अरुण वोरा, एमआईसी सदस्य सीजू एंथोनी मौजूद थे। https://www.patrika.com/prime/exclusive/durg-vomiting-diarrhea-fever-patients-increased-in-hospitals-18865548