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‘प्रेमजी’ के प्रेम में महिला ने गवाएं 2.27 करोड़, CEO और असिस्टेंट पर मामला दर्ज

MP News: जबलपुर से साइबर ठगी का हैरान करने वाला मामला सामने आया है।

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जबलपुर। MP News: सोशल मीडिया प्लेटफार्म को जालसाजों ने ठगी का अड्डा बना लिया है। कभी ऑफर तो कभी शेयर ट्रेडिंग के नाम पर लोगों का खाता खाली कर रहे हैं। ऐसे ही एक मामले में 500 प्रतिशत तक मुनाफे का झांसा देकर ठगों ने महिला को दो महीने के अंदर दो करोड़ 27 लाख 75 हजार रुपए की चपत लगा दी। यह पूरा खेल 'प्रेमजी' नाम के ऐप के जरिए किया गया। क्राइम ब्रांच में प्रेमजी ग्रुप के सीईओ राजीव एयून्नि और उसकी सहायिका कृतिका ठाकुर के खिलाफ धोखाधड़ी समेत विभिन्न धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज किया गया है।

पुलिस के मुताबिक जबलपुर निवासी अर्चना सिंह ने बताया, सोशल मीडिया पर प्रेमजी ग्रुप के ऐप का एड आया। दावा किया गया कि उनके निर्देश पर शेयर बाजार में निवेश किया जाए तो 500 प्रतिशत तक रिटर्न मिल सकता है। सस्ते दर पर ट्रेडिंग की बात भी कही गई।

प्रेमजी के वॉट्सऐप ग्रुप में जोड़ा

अर्चना से पांच हजार रुपए के निवेश से शुरुआत कराई गई। उन्हें प्रेमजी इन्वेस्ट स्टॉक एक्सचेंज नाम के वॉट्सऐप ग्रुप में जोड़ा गया। उससे जुडे लोग अपने विचार और मुनाफे की बात कहते थे। उस ग्रुप में 116 लोग जुड़े थे। इसमें विभिन्न जानकारियां साझा की जाती थीं। इसके बाद कृतिका ने अर्चना को एकाउंट नंबर दिया। उसके बाद अर्चना से इन्वेस्ट कराना शुरू कराया। अर्चना को धीरे-धीरे ऐप में मुनाफा दिखने लगा। ज्यादा प्रॉफिट का लालच देकर ठग कृतिका उससे रकम इन्वेस्ट कराती गई। हर बार मुनाफा अधिक नजर आता। 25 अगस्त तक निवेश की रकम २ करोड़ 27 लाख 75 हजार तक पहुंच गई थी। निकासी के लिए रकम खाते में ट्रांसफर नहीं हुई। इसके बाद अर्चना ने मामला दर्ज कराया।

ऐप पर पांच हजार से की शुरुआत ठगों ने यूजर आइडी और पासवर्ड दिया। हालांकि, अर्चना ने ऐप इंस्टॉल नहीं किया। इसके बाद भी 26 जून को उन्हें कॉल आया। बात कराने वाली ने खुद का नाम कृतिका ठाकुर और खुद को राजीव की सहायक बताया। उसने ऐप इंस्टॉल करने और ऑपरेट करने में मदद करने की बात कही। उसके झांसे में आकर अर्चना ने ऐप इंस्टॉल कर लिया। कुछ देर बाद उन्हें यूजर आइडी और पासवर्ड दिया गया। ऐप में स्टॉक ट्रेडिंग, आइपीओ, इक्विटी ट्रांसफर, एफओएफ और अन्य ऑप्शन थे।

ये भी ध्यान रखें

दीपावली ऑफर और वाउचर से हो रही ठगी

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वेबसाइट पर ऑर्डर बुक करते समय स्पेलिंग जरूर चेक करें और ओटीपी वन टाइम पासवर्ड साझा नहीं करें। ठगी होने पर तत्काल शिकायत दर्ज कराएं।

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