Bisalpur Dam बीसलपुर बांध लबालब है। बांध में सिंचाई और जलापूर्ति के लिए आरक्षित पानी भी भर चुका है। इसके बाद भी बांध में पानी की बंपर आवक और निकासी लगातार जारी है। तुलनात्मक रूप से देखें तो बताया जा रहा है कि बांध में सिंचाई और जलापूर्ति के लिए जितना पानी आरक्षित है उतना पानी तो लगभग बीते छह दिनों में बीसलपुर बांध से बनास नदी में छोड़ा जा चुका है। इसके अलावा जितने पानी में ईसरदा बांध भर जाए उतना पानी भी बीसलपुर बांध से इन दिनों में छोड़ा जा चुका है। ईसरदा बांध की पूर्ण भराव क्षमता 10.77 टीएमसी है।
बनास नदी में छोड़ा पानी चम्बल नदी में मिला
बीसलपुर बांध से बनास नदी में छोड़ा पानी चम्बल नदी में मिल चुका है। बांध परियोजना के सहायक अभियंता दिनेश बैरवा ने बताया कि बांध से पिछले गुरूवार से बनास नदी में पानी की निकासी लगातार जारी है। बांध से अब तक कुल 13.22 टीएमसी पानी की निकासी की जा चुकी है। उन्होंने बताया कि 38.70 टीएमसी पानी भरने पर बीसलपुर बांध पूरा भरता है। इसमें 8 प्रतिशत पानी सिंचाई के लिए आरक्षित रहता है जबकि 16.2 टीएमसी पानी पेयजल के लिए आरक्षित रखा जाता है। बाकी पानी सालभर में वाष्पीकरण के माध्यम से या अन्य तरीकों से निकल जाता है। आवक और निकासी के बीच मंगलवार को भी बांध के रेडियल गेटों से कभी कम तो कभी अधिक पानी की निकासी की गई।
छह दिन से निकासी जारी, आज भी खुले छह गेट
मंगलवार सुबह तक बांध के गेट संख्या 8,9,10,11,12 ,13 से 72 हजार 120 क्यूसेक पानी प्रति सैकंड निकासी की गई। दोपहर में इसे फिर घटा दिया गया। दोपहर में इन सभी गेटो को एक एक मीटर खोलकर 36 हजार 60 क्यूसेक पानी प्रति सैकंड बनास नदी में छोड़ा गया। बांध के कंट्रोल रूम से मिली जानकारी के अनुसार बांध का जलस्तर पूर्ण जलभराव 315.50 आर एल मीटर है और त्रिवेणी का गेज 3.70 मीटर है। बीसलपुर बांध के गेटों से निकलती जलधारा को निहारने के लिए बड़ी संख्या में लोग पहुंचे। बांध परियोजना अभियंताओं ने टोंक कलेक्टर कल्पना अग्रवाल से बांध क्षेत्र में मानसून सत्र के दौरान आरएसी और पुलिस जाप्ता बढ़ाने की मांग की है।
Bisalpur Dam