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SMS HOSPITAL : रिश्वत केस में फंसते जा रहे डॉ मनीष अग्रवाल, विभागीय लोग बता रहें घोटाले, ACB ले रहीं जानकारी

एसीबी की ओर से मामले की जांच की जा रहीं है। लेकिन डॉक्टर मनीष अग्रवाल की मुश्किलें कम होने का नाम अभी नहीं ले रहीं है।

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जयपुर। एसएमएस अस्पताल के न्यूरो सर्जरी डिपार्टमेंट के एचओडी डॉ मनीष अग्रवाल को एक लाख रुपए रिश्वत लेने के मामले में जेल भेज दिया गया है। एसीबी की ओर से मामले की जांच की जा रहीं है। लेकिन डॉक्टर मनीष अग्रवाल की मुश्किलें कम होने का नाम अभी नहीं ले रहीं है।

सूत्रों के अनुसार अब डॉक्टर मनीष अग्रवाल की भ्रष्टाचार से जुड़ी जानकारियां अब उनके महकमे के लोग ही एसीबी को दे रहे है। डॉ मनीष अग्रवाल के कार्यकाल में जो टैंडर पास हुए। उन टैंडरों के बारे में एसीबी को कई लोग फोन से जानकारी दे रहे है कि मनीष अग्रवाल ने कैसे और किस तरीके से घोटाला किया। ऐसे में एसीबी के सामने डॉ मनीष अग्रवाल के खिलाफ जांच को लेकर कई जानकारियां सामने आ रही है। हालांकि डॉ मनीष अग्रवाल ने एसीबी को कहा कि उन्हें फंसाया गया है।

एसएमएस से दस्तावेज लेगी एसीबी…

माना जा रहा है कि आज एसीबी की ओर से एसएमएस अस्पताल में भ्रष्टाचार से जुड़े दस्तावेज कलेक्ट किए जाएंगे। डॉ मनीष अग्रवाल के समय जो टैंडर पास हुए है। उन सभी दस्तावेज एसीबी जब्त करेगी। इसके बाद में सभी टैंडर्स की जांच पड़ताल होगी।

सभी अस्पताल रडार पर, होगी जांच..

डॉ मनीष अग्रवाल के पास एसएमएस मेडिकल स्टोर के सेंट्रल मेडिकल स्टोर इंचार्ज की जिम्मेदारी भी थी। ऐसे में उनके पास मेडिकल कॉलेज के अधीन एसएमएस, जयपुरिया, जेके लोन व अन्य सभी अस्पतालों की जिम्मेदारी थी। अब इन अस्पतालों में डॉ मनीष के कार्यकाल के समय किए गए सभी बिलों को पास करने की जांच पड़ताल भी होगी। जिससे यह सामने आएगा कि इन सभी अस्पतालों में भ्रष्टाचार हुआ है या नहीं।

यह है मामला..

एक व्यक्ति ने बुधवार को शिकायत दर्ज कराई थी कि पिछले 3 महीनों से उसके बिल पास नहीं हो रहे हैं। उसका न्यूरो सर्जरी में काम आने वाले ब्रेन कॉइल की सप्लाई का काम है। कंपनी को 2 साल का टेंडर दिया गया था। मरीजों की जरूरत के अनुसार कंपनी से सामान मंगवाया जाता था। डॉ. मनीष अग्रवाल बिल पास करने के लिए 1 लाख रुपए की मांग कर रहे थे। जब कंपनी का प्रतिनिधि बिल लेकर डॉ. मनीष अग्रवाल के ऑफिस पहुंचा तो डॉ. मनीष ने बिल फेंक दिए और कहा कि ये बिल अभी पास नहीं होंगे। डॉ. मनीष ने कर्मचारी से यह भी कहा कि वह उनसे पर्सनली आकर मिले। गुरुवार शाम को डॉ. मनीष अग्रवाल ने शिकायतकर्ता को मिलने के लिए घर बुलाया था। यहां एसीबी की टीम ने डॉ. मनीष अग्रवाल को 1 लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ लिया।