
CG News: @ मनीष गुप्ता। बस्तर में लगातार हो रही मुठभेड़ों और बड़े पैमाने पर हुए आत्मसमर्पण के बाद नक्सलियों की ‘कमांड चेन’ टूट गई है तथा संगठनात्मक ढांचा चरमरा गया है। सेंट्रल कमेटी, पोलित ब्यूरो, मिलिट्री कमीशन एवं डीकेएसजेडसी के कई पदधारी या तो मारे गए है या फिर पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण कर चुके है तब से संगठन में कई पद खाली है जिसके कारण नक्सलियों के निर्णय प्रभावित हो रहे है। खबर है कि नक्सलियों ने संगठन के पुनर्गठन की कवायद शुरू कर दी है।
कुछ युवा एवं अनुभवी लोगों को आगे लाने को लेकर नेतृत्व में मंथन हुआ है। दंडकारण्य स्पेशल जोनल कमेटी में नए लोगो को जोड़ने की बात कही गई है। बैठक में इस बात पर संतोष जताया है कि तमाम सरकारी हथकंडों के बावजूद पीएलजीए कैडर जनता की रक्षा के लिए ‘लड़ो और डटे रहो’ की नीति पर कायम है।
तेलंगाना के खुफिया सूत्रों के मुताबिक पिछले दिनों तेलंगाना के नल्ला मल्ला के जंगलों में नक्सलियों की एक बैठक हुई जिसमें छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र में शीर्ष पदाधिकारियों के नेतृत्व में हुए बड़े पैमाने पर आत्मसमर्पण निंदा करते हुए इसे पार्टी के साथ गद्दारी कहा गया। भाजपा सरकार पर दमन का आरोप लगाते हुए कहा कि हम डरने वाले नहीं है सरकार के खिलाफ नक्सलियों ने सशस्त्र संघर्ष जारी रखने का संकल्प दोहराया है।
बस्तर में नक्सलियों का वजूद पीएलजीए के लड़ाकों पर टिका हुआ है। वर्तमान में नक्सलियों की बटालियन नंबर एक को हिड़मा लीड कर रहा है। वहीं सेंट्रल मिलिट्री कमीशन की कमान थीपरी तिरुपति उर्फ देवजी सम्हाल रहा है। इसके अलावा केसा, सोमारू और देवा बटालियन के बड़े लड़ाके माने जाते हैं। सूत्रों के मुताबिक बटालियन की नफरी 350-400 के बीच है।
वही इनकी एक और मजबूत इकाई सीआरसी और कंपनी नंबर 1,2,4,और 5 भी है। इसके अलावा बड़ी संख्या में जनमिलीशिया के कैडर भी है जो कभी स्मॉल एक्शन टीम तो कभी सीधे ऑपरेशन में शामिल हो जाते है सूत्रों के मुताबिक बस्तर में अब भी लगभग एक हजार से अधिक सशस्त्र लड़ाके मौजूद हैं।
2024 से 3 अक्टूबर 2025 तक 209 मुठभेड़ 448 नक्सली मारे गए है वहीं 2274 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है। इसमें नक्सलियों के सेंट्रल कमेटी पार्टी का पोलित ब्यूरो सदस्य सोनू उर्फ भूपति ने गढ़चिरौली में तथा रूपेश उर्फ टीपी राव, रानीता,राजमन सहित लगभग 300 से अधिक नक्सलियों ने हाल ही सरेंडर कर दिया है। नक्सल संगठन के राष्ट्रीय सचिव बसवा राजू उर्फ बीआर दादा, कादरी सत्यनारायण उर्फ कोसा, सी रामचंद्र रेड्डी उर्फ विकल्प, बालकृष्ण और चलपती जैसे शीर्ष नेता एक वर्ष में ही पुलिस के साथ मुठभेड़ में मारे जा चुके है। इससे नक्सलियों की कमर ही टूट गई है उनके कैडर का मनोबल बहुत गिरा हुआ है।
बदली हुई परिस्थितियों में नक्सली जल्दबाजी के बजाय फूंक-फूंक कर कदम बढ़ा रहे है। सूत्रों के मुताबिक सेंट्रल मिलिट्री कमीशन के प्रमुख थिपरी तिरुपति उर्फ देवजी को सेंट्रल कमेटी का प्रमुख तथा बटालियन कमांडर हिड़मा मिलिट्री हेड, केसा को बटालियन कमांडर, तथा तेलंगाना स्टेट कमेटी के सचिव दामोदर को डीकेएसजेडसी का भी इंचार्ज, गणेश उईके को पोलित ब्यूरो सदस्य बनाया जाएगा।
Updated on:
25 Oct 2025 11:24 am
Published on:
25 Oct 2025 11:23 am
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