Dhanteras 2025 Mantra (photo- gemini ai)
Dhanteras 2025 Mantra: धन और समृद्धि के देवता भगवान कुबेर को यक्षों का राजा और देवताओं के खजाने का संरक्षक माना जाता है। दिवाली से पहले मनाए जाने वाले धनतेरस पर, देवी लक्ष्मी और भगवान कुबेर की पूजा विशेष रूप से की जाती है। ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, कुबेर मंत्र का जाप करने से घर में धन-संपत्ति बढ़ती है और आर्थिक परेशानियों से मुक्ति मिलती है। पंडित इंद्रमणि घनस्याल के अनुसार, कुबेर मंत्र की सही विधि और भक्ति भाव से जाप करने से भगवान कुबेर जल्दी प्रसन्न होते हैं।
स्नान और पूजा स्थल तैयार करना: सुबह स्नान के बाद पूजा स्थल पर लाल कपड़ा बिछाएं और गंगाजल का छिड़काव करें।प्रतिमा स्थापना: चौकी पर देवी लक्ष्मी और भगवान कुबेर की प्रतिमा रखें। दीपक और धूप: घी का दीपक, धूप और अगरबत्ती जलाएं। पुष्प अर्पित करें और प्रतिमा पर लाल कुमकुम का तिलक करें। मंत्र जाप: 108 मनकों की माला दाहिने हाथ में लेकर जाप शुरू करें। मंत्र उच्चारण इस प्रकार करें: ‘ॐ ह्रीं श्रीं क्रीं श्रीं कुबेराय अष्टलक्ष्मी मम गृहे धनं पुरय पुरय नमः॥’
प्रार्थना और आरती: मंत्र जाप के बाद हाथ जोड़कर प्रार्थना करें कि घर और परिवार में धन, सुख और समृद्धि बनी रहे। इसके बाद माता लक्ष्मी और श्री कुबेर की आरती करें और भोग अर्पित कर दण्डवत प्रणाम करें।
ॐ धन्वंतरये नमः।
ॐ नमो भगवते धन्वंतरये अमृतकलश हस्ताय सर्व रोगनिवारणाय त्रिलोकनाथाय श्री महाविष्णवे नमः॥
ॐ लक्ष्म्यै नमः।
ॐ धनाय नमः।
ॐ लक्ष्मी नारायण नमः।
ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं श्री सिद्ध लक्ष्म्यै नमः॥
ॐ कुबेराय नमः।
ॐ धनदाय नमः।
ॐ निधीशाय नमः।
ॐ अष्टलक्ष्मी सदावासाय नमः॥
मृत्युनाऽ पाशहस्तेन कालेन भार्या सह।
त्रयोदशीं दीपदानात् सूर्यजः प्रीयतामिति॥
मंत्र जाप हमेशा साफ और शांत वातावरण में करें। पूजा के दौरान मानसिक रूप से शुद्ध और समर्पित रहें। घर में धन और समृद्धि के लिए नियमित रूप से दीपक जलाना और मंत्र जाप करना शुभ माना जाता है। इस प्रकार, धनतेरस पर कुबेर मंत्र और अष्टलक्ष्मी पूजन से न केवल आर्थिक समृद्धि बढ़ती है, बल्कि घर और परिवार में सुख, शांति और सकारात्मक ऊर्जा का वास भी होता है।
Published on:
14 Oct 2025 01:35 pm
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