Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

राजस्थान में तहसीलदार की हार्ट अटैक से मौत, तेज दर्द होने पर तड़पने लगे और बेचैन हो गए, पत्नी ने लगाए ये आरोप

Tehsildar Yogesh Jaiswal Died: प्रतापगढ़ जिले के पीपलखूंट तहसीलदार योगेश जायसवाल की हार्ट अटैक से मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि सरकारी अस्पताल में समय पर इलाज और एंबुलेंस नहीं मिली।

2 min read
Pratapgarh Peepalkhoont Tehsildar Yogesh Jaiswal Died

Tehsildar Yogesh Jaiswal (Photo-X)

Tehsildar Yogesh Jaiswal Died: प्रतापगढ़ के पीपलखूंट में सोमवार सुबह दिल दहला देने वाली घटना हुई। यहां के तहसीलदार योगेश जायसवाल (42) की हार्ट अटैक से मौत हो गई। परिवार का आरोप है, समय पर इलाज न मिलने और एंबुलेंस में देरी के कारण उनकी जान नहीं बच पाई। वहीं, स्वास्थ्य विभाग ने इन आरोपों को खारिज करते हुए कहा, मरीज को आवश्यक इलाज दिया गया था।


बता दें कि सुबह करीब सात बजे योगेश जायसवाल को अचानक सीने में तेज दर्द और बेचैनी हुई। उनकी पत्नी वर्षा जायसवाल उन्हें तुरंत पीपलखूंट के सरकारी अस्पताल लेकर पहुंचीं। पत्नी का कहना है, अस्पताल में उन्हें करीब एक घंटे तक उचित इलाज नहीं मिला।


जांच मशीन भी खराब निकली


यहां तक कि ब्लड प्रेशर जांचने की मशीन भी खराब निकली। कई बार प्रयास करने के बाद दूसरी मशीन मंगाई गई, लेकिन वह भी काम नहीं कर रही थी। ऐसे में न तो सही समय पर जांच हो पाई और न ही कोई ठोस उपचार शुरू हो सका।


पत्नी वर्षा जायसवाल का आरोप


वर्षा जायसवाल का आरोप है कि उन्होंने एंबुलेंस की मांग की, लेकिन काफी देर तक एंबुलेंस उपलब्ध नहीं कराई गई। उन्हें बताया गया कि गाड़ी किसी और कॉल पर बाहर गई है। वर्षा ने कहा, पति को ऑक्सीजन सपोर्ट की जरूरत थी, ऐसे में उन्हें निजी वाहन से ले जाना संभव नहीं था। इस बीच हालत बिगड़ने पर योगेश ने दम तोड़ दिया।


अत्यधिक काम के दबाव में थे


तहसीलदार की पत्नी ने यह भी बताया कि उनके पति पिछले कुछ समय से अत्यधिक काम के दबाव में थे। मात्र एक महीने पहले ही उनकी पीपलखूंट में पोस्टिंग हुई थी। स्टॉफ की कमी और बढ़ते कामकाज को लेकर वे मानसिक तनाव में रहते थे। घर पर भी वे कई बार इस बारे में चर्चा करते थे।


बीसीएमओ ने आरोपों को गलत ठहराया


इधर, मामले पर पीपलखूंट के ब्लॉक चीफ मेडिकल ऑफिसर (BCMO) सुखराम अंडाना ने परिवार के आरोपों को गलत ठहराया। उन्होंने कहा कि मरीज को अस्पताल लाए जाने के बाद तुरंत इलाज शुरू किया गया था। उन्हें ड्रिप लगाई गई थी। जहां तक एंबुलेंस की बात है, 108 सेवा को कॉल किया गया था। कॉल सुबह 8:03 पर की गई और 8:30 पर एंबुलेंस अस्पताल पहुंच गई थी।


योगेश जायसवाल का पोस्टमॉर्टम करने के बाद शव परिजनों को सौंप दिया गया। दोपहर करीब तीन बजे बॉडी पैतृक गांव राजसमंद ले जाई गई, जहां शाम 6 बजे अंतिम संस्कार हुआ। अंतिम संस्कार के समय कलेक्टर डॉ. अंजलि राजोरिया और पुलिस अधीक्षक बी. आदित्य समेत कई प्रशासनिक अधिकारी मौजूद रहे।