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जन्माष्टमी 2025: क्या बांके बिहारी मंदिर में नहीं मिलेगी गर्भवती महिलाओं और बच्चों को एंट्री? जानें क्या जारी की गई एडवाइजरी

Janmashtami 2025: बांके बिहारी मंदिर प्रशासन की ओर से जन्माष्टमी 2025 को देखते हुए एक एडवाइजरी जारी की गई है। जानिए, इस एडवाइजरी में क्या अपील श्रद्धालुओं से की गई है?

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Janmashtami 2025

बांके बिहारी मंदिर प्रशासन ने जारी की एडवाइजरी। फोटो सोर्स- पत्रिका न्यूज

Janmashtami 2025: बांके बिहारी मंदिर प्रशासन ने श्रद्धालुओं के लिए एक एडवाइजरी जारी की है। इस एडवाइजरी में आग्रह किया है जन्माष्टमी के अवसर पर भारी संख्या में श्रद्धालुओं के आने की आशंका के चलते छोटे बच्चों, बुजुर्गों, गर्भवती महिलाओं, दिव्यांगों और अन्य बीमारियों से ग्रस्त मरीजों को मंदिर में ना लाएं।

16 और 17 अगस्त को जन्माष्टमी मेला

मंदिर प्रशासन द्वारा बुधवार को जारी प्रेस रिलीज के मुताबिक, 16 और 17 अगस्त को जन्माष्टमी मेला है। ऐसे में वृंदावन के बांके बिहारी मंदिर में भीड़ ज्यादा रहने की उम्मीद है। इसी वजह से मंदिर प्रशासन ने तेज गर्मी, उमस और बरसात के मौसम के कारण संभावित स्वास्थ्य जोखिमों का हवाला दिया। खासकर बुजुर्गों, बच्चों, गर्भवती महिलाओं और शुगर और बीपी पीड़ित लोगों को मंदिर में ना लाने की अपील की गई है।

5,100 तेल के दीयों की प्रदर्शनी लगाने की योजना

यह एडवाइजरी संभावित स्वास्थ्य संबंधी खतरों और भीड़-संबंधी घटनाओं को रोकने के लिए एहतियाती उपायों के तहत जारी की गई है। बता दें कि 15, 16 और 17 अगस्त को ब्रज में सांस्कृतिक कार्यक्रमों की श्रृंखला आयोजित की जाएगी, जिसमें स्थानीय और प्रसिद्ध कलाकार प्रस्तुति देंगे। पूरे क्षेत्र में 5,100 तेल के दीयों की प्रदर्शनी लगाने की भी योजना है।

चार बड़े प्रवेश द्वार बनाए जाएंगे

उत्सव के माहौल को और भी बेहतर बनाने के लिए, मथुरा-वृंदावन की सभी प्रमुख सड़कों और चौराहों को रोशनी से सजाया जाएगा। तीर्थयात्रियों के आवागमन को नियंत्रित करने के लिए चार बड़े प्रवेश द्वार बनाए जाएंगे। साथ ही स्वच्छता बनाए रखने के लिए 3 शिफ्ट में 1,025 सफाई कर्मचारी तैनात किए जाएंगे। सुरक्षा व्यवस्था भी कड़ी की जा रही है।

भीड़ नियंत्रण के लिए लगाए जाएंगे बैरिकेड्स

मथुरा के SSP श्लोक कुमार ने कहा कि अतिरिक्त पुलिस बल की मांग की गई है। द्वारकाधीश मंदिर तथा अन्य स्थानीय मंदिरों के पुजारियों के साथ समन्वय किया जा रहा है। जन्माष्टमी के दिन, कृष्ण जन्मभूमि के प्रवेश द्वार से केशव मंदिर तक भीड़ नियंत्रण के लिए होल्डिंग एरिया और बैरिकेड्स लगाए जाएंगे।

कुमार ने कहा कि सभी श्रद्धालुओं के लिए सुगम प्रवेश और निकास सुनिश्चित करने के प्रयास किए जाएंगे। बता दें कि 161 साल पुराना बांके बिहारी मंदिर, जो 1,200 वर्ग फुट में फैला है यहां आमतौर पर प्रतिदिन लगभग 50,000 श्रद्धालु आते हैं। सप्ताह के अंत में ये संख्या बढ़कर में 1 लाख और त्योहारों पर 5 लाख से तक पहुंच जाती है। जिससे भीड़ नियंत्रण और सुरक्षा एक बड़ी चिंता का विषय बन जाता है।