जब प्रेमानंदजी ने कहा- शरीर तो बीमार है, पर दिल से करूंगा हर बात | Image Source - 'X' @RadhaKeliKunj
Dhirendra krishna shastri meets saint premanand: वृंदावन की पवित्र भूमि मंगलवार को एक अद्भुत आध्यात्मिक मिलन की साक्षी बनी, जब बागेश्वर धाम पीठाधीश्वर आचार्य धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री श्री राधा केलिकुंज में संत प्रेमानंद महाराज से मिलने पहुंचे। यह मुलाकात न केवल दो महान संतों का संगम थी बल्कि सनातन धर्म की एकता और सशक्तिकरण का प्रतीक भी बनी।
आचार्य धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री अपनी “सनातन एकता पदयात्रा” का निमंत्रण देने के उद्देश्य से वृंदावन पहुंचे थे। उन्होंने संत प्रेमानंद महाराज से आग्रह किया कि वे इस यात्रा में अपने आशीर्वाद और भावनात्मक उपस्थिति के माध्यम से शामिल हों। शास्त्री जी ने कहा कि इस यात्रा का उद्देश्य समाज में सनातन मूल्यों की पुनर्स्थापना और एकजुटता को बल देना है।
वार्ता के दौरान जब संत प्रेमानंद महाराज ने मुस्कराते हुए कहा कि वे बीमार हैं, तो शास्त्री जी ने आदरपूर्वक उत्तर दिया- “आप कहीं बीमार नहीं, ये सब आपकी लीला है। महापुरुषों की हर पीड़ा भी एक संदेश होती है।” यह सुनते ही संत प्रेमानंद जोर से हंस पड़े और बोले, “आप सनातन का सच्चा प्रकाश फैला रहे हैं।”
मंगलवार की सुबह करीब साढ़े सात बजे आचार्य धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री जब श्री राधा केलिकुंज पहुंचे, तो संत प्रेमानंद महाराज अपने आसन से उठकर उनका स्वागत करने खड़े हो गए। दोनों संतों ने गले मिलकर एक-दूसरे को स्नेह और आशीर्वाद दिया। वातावरण में आध्यात्मिक ऊर्जा और भक्ति की लहर दौड़ गई।
करीब पंद्रह मिनट चली वार्ता में दोनों संतों ने समाज में बढ़ती आध्यात्मिक जागरूकता पर चर्चा की। संत प्रेमानंद महाराज ने कहा कि आचार्य शास्त्री सनातन के युगधर्म का पालन कर रहे हैं। उन्होंने कहा, “आप समाज को सनातन का दर्शन करा रहे हैं। ईश्वर आपको दीर्घायु करें ताकि धर्म का प्रकाश हर दिशा में फैले।” उन्होंने यह भी कहा कि वे इस यात्रा में ‘भाव रूप’ से शामिल रहेंगे।
Published on:
14 Oct 2025 04:19 pm
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