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MP News: प्रदेश में त्योहारी सीजन में खाने-पीने की चीजों को लेकर ज्यादा सतर्क रहें। खासकर मिठाई वह भी जो मावा से बनी है। क्योंकि, इनमें बहुत ज्यादा मिलावट है। इस बात की तस्दीक खाद्य सुरक्षा अधिकारियों के लिए गए सैंपल से होती है। विभाग ने अप्रैल से सितंबर के बीच 9,827 जिनमें से कानूनी सैंपल लिए थे, 5,262 की जांच हुई। इनमें से 173 सैंपल यानी हर 30 में से 1 सैपल घटिया या मिलावटी पाया गया।
खाद्य सुरक्षा विभाग ने बताया कि इस साल अप्रेल से सितंबर तक राज्य भर में कुल 9,827 कानूनी सैपल और 12,214 निगरानी सैंपल जुटाए थे। जांच के लिए भेजे गए 5,262 कानूनी सैंपलों में से 173 सैपल ऐसे निकले जो अपनी पैकेजिंग पर लिखे दावों के मुताबिक गुणवत्ता और मात्रा में खरे नहीं उतरे। इन पर विभाग ने खाद्य सुरक्षा नियमों के तहत मुकदमा दर्ज करवाया है।
वरिष्ठ खाद्य सुरक्षा अधिकारी डीके वर्मा के अनुसार पिछले छह महीने में करीब 36 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है और कई लाइसेंस रद्द किए गए है। उन्होंने कहा कि लैब जांच में मिलावट की पुष्टि होने के बाद संबंधित मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालतों में मामला दर्ज किया जाता है।
खाद्य सुरक्षा प्रशासन, भोपाल की संयुक्त टीम ने जुमेराती स्थित महेंद्र मावा भण्डार से गुरुवार को मावा के नमूने लेने के साथ दो क्विटल मावा जब्त किया। टीम ने इतवारा स्थित सांवरिया स्वीट्स से भी मावा, मावा बर्फी, पनीर के नमूने लिए। कुंदन नमकीन से लोंग सेव, बेसन, तेल के नमूने लेकर राज्य खाद्य प्रयोगशाला भेजे गए। चलित खाद्य प्रशिक्षण प्रयोगशाला ने 10 नम्बर मार्केट, 6 नम्बर मार्केट से मावा, पनीर, बेसन लड्डू चांदी के वर्क, खाद्य रंग के नमूने लेकर जांच की। सभी नमूने मानक ही पाए गए निरीक्षण दल में खाद्य सुरक्षा अधिकारी पंकज श्रीवास्तव, अरूणेश कुमार पटेल, भोजराज धाकड़, साधना सक्सेना, पूजा शाक्या व अन्य रहे। गौरतलब है कि दीपोत्सव के दौरान मिलावटी खाद्य पदार्थ को लेकर सघन जांच अभियान चलाया जा रहा है।
Published on:
17 Oct 2025 09:31 am
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