फोटो सोर्स- 'X' अहमदाबाद)
उत्तर प्रदेश के बांदा के रहने वाले पंकज उर्फ राहुल यादव 16 साल पहले घर से नाराज होकर निकल गए थे ट्रेन में बैठकर अहमदाबाद पहुंच गए रेलवे स्टेशन पर पंकज को इधर-उधर भटकता दे पुलिस वालों ने रेलवे पुलिस ने बातचीत की लेकिन मुख बधिर होने के कारण पंकज कुछ बता ना सका जीआरपी ने पंकज को नवरंगपुर स्थित मुख बधिर स्कूल में एडमिशन करा दिया।
बताते हैं पिछले 7 साल से नवरंगपुरा पुलिस स्टेशन में पंकज रह रहा था पुलिस वाले उसका खर्च उठाते थे इधर पुलिस बीच में गुमशुदा लोगों को परिवार के साथ मिलने का अभियान चलती रहती थी इसी क्रम में नवरंगपुरा की मुस्लिम सोसाइटी में सुरक्षा गार्ड की नौकरी करने वाला नीरज यादव की नजर पंकज पर पड़ी दुआ उसे पहचान गया नीरज ने बताया कि पंकज और उसने दोनों ने दाहिने हाथ में राम और सीता का टैटू बनवाया था जो अभी भी पंकज के दाहिने हाथ में मौजूद है
नीरज ने पंकज यादव के विषय में पुलिस को बताया नवरंगपुरा पुलिस ने नीरज से मिली जानकारी के आधार पर पंकज के परिजनों से संपर्क किया और वीडियो कॉलिंग करके एक दूसरे की बात कराई। अहमदाबाद पुलिस ने पंकज के परिवार वालों को अहमदाबाद बुलाया। बड़ा भाई नाथू यादव नवरंगपुरा थाने पहुंचा। जहां पंकज को देख उसकी आंखें भर आए। नाथू पंकज को साथ लेकर अपने गांव चला आया। अहमदाबाद पुलिस ने जिस प्रकार से पंकज की देखभाल की है। उसकी लोग सराहना कर रहे हैं।
Updated on:
14 Sept 2025 08:44 pm
Published on:
14 Sept 2025 08:42 pm
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