जामनगर. जूनागढ़. जूनागढ़ गिरनार जंगल में 2 नवंबर से 5 नवंबर तक लीली परिक्रमा का आयोजन होगा। संत ने श्रद्धालुओं से परिक्रमा जल्दी शुरू न करने की अपील की है।
जूनागढ़ कलक्टर कार्यालय में गुरुवार को प्रशासन के सभी विभागों, भवनाथ क्षेत्र के संतों और राजनीतिक व संगठनात्मक नेताओं की उपस्थिति में महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई।
चार दिवसीय परिक्रमा में श्रद्धालुओं को पर्याप्त सुविधा और सुरक्षा मिले, इसके लिए सभी तैयारियों को लेकर अलग-अलग सुझाव दिए गए। कलक्टर अनिल राणावसिया ने परिक्रमा के आयोजन को लेकर सभी उपस्थित लोगों से विभिन्न सुझाव लिए। प्रशासन ने प्रत्येक विभाग को समय-सीमा के भीतर कार्य पूरा करने के विशेष निर्देश दिए।
वन विभाग को गिरनार मार्ग पर सड़कों की तत्काल मरम्मत करने को कहा गया, जबकि जूनागढ़ पुलिस विभाग ने श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए उचित व्यवस्था करने पर चर्चा की। स्वास्थ्य विभाग और अग्निशमन विभाग से योजनाबद्ध कार्रवाई करने का आग्रह किया गया।
परिक्रमा में आने वाले लाखों लोगों के स्वास्थ्य और कल्याण को ध्यान में रखते हुए, स्वास्थ्य विभाग को पर्याप्त चिकित्सक, दवाइयां और एम्बुलेंस उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए। जल आपूर्ति विभाग को परिक्रमा मार्ग पर पर्याप्त जल बिंदु स्थापित करने की जिम्मेदारी दी गई ताकि श्रद्धालुओं को पानी की कोई समस्या न हो। अग्निशमन विभाग से भी किसी भी अप्रत्याशित घटना से निपटने के लिए योजनाबद्ध कार्रवाई करने का आग्रह किया गया।
जूनागढ़ मनपा को भी शहर की सड़कों की जल्द से जल्द मरम्मत करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके अलावा, यात्रियों की सुविधा के लिए, जूनागढ़ राज्य परिवहन विभाग ने 30 अतिरिक्त मिनी बसें चलाने की योजना बनाई है। इस बैठक के बाद, भवनाथ के संत इंद्र भारती बापू ने श्रद्धालुओं से विशेष रूप से अपील की जल्दी परिक्रमा शुरू न करें।
प्रशासन ने श्रद्धालुओं से विशेष अपील की कहा कि गिरनार क्षेत्र में इकोजोन लागू होने के कारण प्लास्टिक पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया है। गिरनार जंगल क्षेत्र होने के कारण, श्रद्धालुओं से विशेष अनुरोध किया गया है कि वे घोषित मार्ग पर ही परिक्रमा करें।
Published on:
16 Oct 2025 11:03 pm
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