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सोहेल आफरीदी बने खैबर पख्तूनख्वा के नए CM: विपक्ष के वॉकआउट के बीच 90 वोटों से जीते

Sohail Afridi KP Chief Minister: पीटीआई के सोहेल आफरीदी को विपक्ष के वॉकआउट के बीच खैबर पख्तूनख्वा का नया मुख्यमंत्री चुना गया।

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भारत

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MI Zahir

Oct 13, 2025

Sohail Afridi KP Chief Minister

इमरान खान के साथ बैठे खैबर पख्तूनख्वा के मुख्यमंत्री सीएम सोहेल आफरीदी। (फोटो: Iman.)

Sohail Afridi KP Chief Minister: पाकिस्तान की राजनीति में एक बड़ा बदलाव आया है। पीटीआई के युवा नेता सोहेल आफरीदी को सोमवार को खैबर पख्तूनख्वा (Sohail Afridi KP Chief Minister) का नया मुख्यमंत्री चुना गया। विधानसभा सत्र में विपक्ष के बहिर्गमन और पूर्व सीएम अली अमीन गंदापुर के इस्तीफे को लेकर चले विवाद (PTI Leadership Change) के बावजूद यह चुनाव संपन्न हुआ। आफरीदी ने 90 वोट (Khyber Pakhtunkhwa Election) हासिल कर जीत दर्ज की, जबकि अन्य उम्मीदवारों को शून्य वोट मिले। केपी विधानसभा में कुल 145 सदस्य हैं, जहां बहुमत के लिए 73 वोट चाहिए थे। स्पीकर बाबर सलीम स्वाति ने विपक्ष की अनुपस्थिति में मतदान कराया। उन्होंने घोषणा की कि जेयूआई-एफ के मौलाना लुत्फुर रहमान, पीएमएल-एन के सरदार शाह जहां यूसुफ और पीपीपी के अरबाब जराक खान को कोई समर्थन नहीं मिला। तीन सदस्य विदेश में होने के कारण अनुपस्थित थे। जीत की घोषणा होते ही हॉल में आफरीदी के समर्थकों ने नारे लगाए।

गंदापुर का इस्तीफा राज्यपाल ने अभी स्वीकार नहीं किया: डॉ. इबादुल्लाह

यह चुनाव संवैधानिक प्रक्रिया पर सवालों के बीच हुआ। विपक्ष के नेता डॉ. इबादुल्लाह ने आपत्ति जताई कि गंदापुर का इस्तीफा राज्यपाल ने अभी स्वीकार नहीं किया है। उन्होंने कहा, "संविधान के मुताबिक पहले इस्तीफा कबूल होता है, फिर नया चुनाव।" विपक्ष ने इसे असंवैधानिक बताते हुए वॉकआउट कर लिया। उन्होंने सवाल उठाया कि अगर बहुमत है तो जल्दबाजी क्यों ?

संविधान लोगों की इच्छा से नहीं चलता

स्पीकर स्वाति ने इसका जवाब देते हुए कहा कि गंदापुर ने दो बार इस्तीफा भेजा था और सभा में घोषणा भी की। उन्होंने अनुच्छेद 130 का हवाला देकर कहा कि यह प्रक्रिया पूरी तरह वैध है। "संविधान लोगों की इच्छा से नहीं चलता, बल्कि नियमों से चलता है," उन्होंने जोर दिया। स्वाति ने साफ किया कि कुछ लोग नया सीएम नहीं बनने देना चाहते, लेकिन लोकतंत्र नियमों पर टिका है।

यह इमरान खान के निर्देश पर हो रहा है: गंदापुर

सत्र की शुरुआत में गंदापुर ने आफरीदी को बधाई दी और कहा कि यह इमरान खान के निर्देश पर हो रहा है। उन्होंने अपनी सरकार की उपलब्धियों का जिक्र किया। "जब हम सत्ता में आए, तो खजाने में सिर्फ 18 महीने का वेतन था, अब 28 करोड़ रुपये जमा हैं।" गंदापुर ने विकास योजनाओं पर फोकस का श्रेय इमरान को दिया और कहा कि पार्टी का संघर्ष जारी रहेगा। उन्होंने प्रांत की चुनौतियों जैसे कानून-व्यवस्था पर ध्यान देने का आह्वान किया।

उनके हस्ताक्षर वैध हैं और इस्तीफा स्वीकार हो गया

गंदापुर के इस्तीफे को लेकर विवाद रविवार को बढ़ा। राज्यपाल फैसल करीम कुंदी ने हस्ताक्षरों में अंतर बताते हुए दोनों पत्र लौटा दिए और 15 अक्टूबर को बैठक बुलाई । गंदापुर ने सोशल मीडिया पर जवाब दिया कि उनके हस्ताक्षर वैध हैं और इस्तीफा स्वीकार हो गया।

उनका खैबर से पहला सीएम पद

बहरहाल सोहेल आफरीदी, 1989 में खैबर जिले के बारा तहसील में जन्मे, पीटीआई के छात्र संगठन से जुड़े। सन 2024 चुनाव में उन्होंने पहली बार विधायक बने और कैबिनेट में उच्च शिक्षा मंत्री रहे। यह उनका खैबर से पहला सीएम पद है, जो जनजातीय क्षेत्र के लिए मील का पत्थर है। विशेषज्ञों का कहना है कि युवा नेतृत्व से प्रांत में नई ऊर्जा आएगी, लेकिन विपक्ष की चुनौतियां बरकरार रहेंगी। केपी की राजनीति अब आफरीदी की नीतियों पर नजर जमाए हुए है।