सिवनी. बालाघाट कोतवाली थाने से 33 अपराधों में जब्त 55 लाख 13 हजार 100 रुपए नकद और करीब 14 लाख रुपये के जेवरात चोरी होने के मामले में संदिग्ध प्रधान आरक्षक योगेश राजपूत एक पत्र लिखकर घर से लापता हो गया है। परिजनों ने रविवार को कोतवाली थाना पहुंचकर शिकायत दर्ज कराई। पत्र में योगेश राजपूत ने एक पुलिस अधिकारी एवं शराब ठेकेदार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। जिसमें उसने कहा है कि दोनों लोग उसे झूठे केस में फंसाने की कोशिश कर रहे हैं। पत्र में प्रधान आरक्षक ने लिखा है कि वह एक ईमानदार व्यक्ति है। 18-19 अक्टूबर की दरमियानी रात मेरे घर पर बालाघाट की पुलिस भेज दी गई। इसके पीछे वजह यह है कि मैंने पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी के खिलाफ हाईकोर्ट में केस लगा रखा है। वहीं शराब ठेकेदार पुरानी रंजिश को लेकर फंसा रहा है। मेरे जाने के बाद मेरे परिवार को परेशान न किया जाए। मैं यह रास्ता खुद चुन रहा हूं। पत्र से यह स्पष्ट है कि प्रधान आरक्षक ने एक तरह से सुसाइड नोट ही लिखा है। बता दें कि बालाघाट जिले के कोतवाली मालखाने में रुपए एवं जेवर चोरी होने के मामले में शनिवार- रविवार दरमियानी रात पुलिस ने सिवनी में दबिश दी थी। आरोपी विकास उर्फ गोलू लाला के घर से 13 लाख रुपए जब्त किए थे। वहीं मामले में संलिप्तता के संदेह पर भैरोगंज महाराज बाग निवासी प्रधान आरक्षक योगेश राजपूत को नोटिस भी दिया था। हालांकि इस दौरान पुलिस एवं प्रधान आरक्षक के बीच काफी झड़प भी देखने को मिली। पूरी घटना की वीडियो भी सोशल साइट पर वायरल हो रही है। वहीं सुसाइड नोट को लेकर पुलिस जांच में जुट गई है।
नरसिंहपुर हो चुका है तबादला
पुलिस अधिकारियों के अनुसार प्रधान आरक्षक योगेश राजपूत का स्थानांतरण 26 सितंबर को नरसिंहपुर हो चुका है। हालांकि उसने अभी ज्वाइन नहीं किया है। चर्चा है कि उसने कोर्ट से स्टे ले रखा है। वह सिवनी में सीसीटीएनएस की कार्रवाई देखता था।
पुलिस कर रही जांच
सिवनी कोतवाली टीआई किशोर वामनकर का कहना है कि रविवार को प्रधान आरक्षक योगेश राजपूत के परिजनों ने उनके लापता होने की शिकायत की है। वहीं एक पत्र भी दिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
Published on:
22 Oct 2025 02:41 pm
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