
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ फोटो सोर्स बीजेपी
बिहार चुनाव में दीपावली और छठ पर्व के बाद बुधवार को यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ की एंट्री हुई। योगी आदित्य नाथ ने बुधवार को रघुनाथपुर में चुनावी सभा को संबोधित करते हुए बाहुबली शहाबुद्दीन का नाम लेकर उनके बेटे ओसामा पर तंज कसा। उन्होंने कहा कि आरजेडी का प्रत्याशी अपनी खानदानी आपराधिक पृष्ठभूमि के लिए पूरे देश में कुख्यात है। आरजेडी ने रघुनाथपुर विधानसभा सीट पर बाहुबली पूर्व सांसद शहाबुद्दीन के बेटे ओसामा शहाब को टिकट दिया है। सीवान जिला के रघुनाथपुर विधानसभा में योगी आदित्यनाथ की चुनावी सभा में बड़ी संख्या में लोग उनको सुनने पहुंचे थे। चुनावी सभा में आए लोग अपने साथ बुलडोजर लेकर भी आए थे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जैसे ही मंच पर पहुंचे लोग 'बाबा का बुलडोजर' का नारा लगाने लगे।
योगी आदित्यनाथ ने रघुनाथपुर में अपनी चुनावी सभा में लोगो से रघुनाथपुर विधानसभा सीट से एनडीए प्रत्याशी विकास सिंह उर्फ जीशू सिंह और दरौली विधानसभा क्षेत्र के प्रत्याशी विष्णु देव पासवान को वोट देने की अपील भी किया। इस चुनावी सभा में योगी आदित्यनाथ को सुनने बुलडोजर लेकर आए लोगों ने कहा कि योगी आदित्यनाथ को 'बुलडोजर बाबा' कहा जाता है, इसलिए हम लोग यहां बुलडोजर लेकर आए हैं।
योगी आदित्यनाथ ने चुनावी सभा में आए लोगों से पूछा कि क्या आप लोग फिर से बिहार में माफिया को पनपने देंगे। आप अगर चाहते हैं कि बिहार से माफिया का राज खत्म हो जाए तो आप एनडीए प्रत्याशी को वोट करें। उन्होंने कहा कि यह धरती तो हम सबके लिए ज्ञान की धरती है, भक्ति की धरती है और शक्ति की धरती है। फिर यहां पर किसी माफिया का क्या काम है? इसलिए आप सभी लोग माफिया परिवार के किसी भी सदस्यो को अपना वोच नहीं दें। मतदान करने से आप सभी लोग इसपर एक बार जरूर सोचेंगे। फिर मतदान करेंगे। दरअसल, यह सीट बीजेपी और आरजेडी के लिए प्रतिष्ठा की सीट बन गई है। यही कारण है कि कुछ दिन पहले केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने अपने सीवान की चुनावी सभा में शहाबुद्दीन का नाम लेकर ओसामा पर तंज कसा था।
केंद्रीय गृहमंत्री और बीजेपी नेता अमित शाह ने 24 अक्तूबर को सीवान में एनडीए उम्मीदवारों के समर्थन में आयोजित सभा में शहाबुद्दीन की चर्चा करते हुए कहा था कि "शहाबुद्दीन के बेटे को लालू प्रसाद ने रघुनाथपुर विधानसभा सीट से टिकट दिया है। लेकिन सीवान वालों से मैं कहना चाहता हूं कि अब नरेंद्र मोदी और नीतीश कुमार का राज है। अगर अब सौ शहाबुद्दीन भी आ जाएं तो वो किसी का बाल बांका नहीं कर सकते हैं। इसके बाद उन्होंने सीवान वालों से आग्रह किया था कि वे इसी भूमि से लालू-राबड़ी को जवाब दें।
शहाबुद्दीन की मौत के बाद उनकी पत्नी सीवान से 2024 में निर्दलीय लोकसभा का चुनाव लड़ी थी। लेकिन, उनकी इस सीट पर करारी हार हुई थी। जेडीयू की विजयलक्ष्मी देवी ने शहाबुद्दीन की पत्नी हेना शहाब को 92,857 वोटों से हराया था। आरजेडी उम्मीदवार अवध बिहारी चौधरी तीसरे नंबर पर रहे थे। हेना शहाब को सबसे कम वोट उनके गृह जिला के विधानसभा रघुनाथपुर से ही मिले थे।
लोकसभा चुनाव में हेना शहाब को रघुनाथपुर विधानसभा में सबसे कम वोट मिलने के बाद भी ओसामा ने इस विधानसभा सीट को ही क्यों चुना? इसपर सीनियर पत्रकार लव कुमार कहते हैं कि शहाबुद्दीन की मौत के बाद से परिवार को राजनीतिक रूप से कोई बड़ी सफलता नहीं मिली है। इसके बाद भी ओसामा ने यह सीट यहां के जाति समीकरण को लेकर चुना है। इस सीट पर 2015 और 2020 के विधानसभा चुनाव में आरजेडी के प्रत्याशी चुनाव जीते थे। रघुनाथपुर सीट से निवर्तमान आरजेडी विधायक हरिशंकर यादव को शहाबुद्दीन की सिफ़ारिश पर ही लालू प्रसाद ने आरजेडी का टिकट दिया था। यही कारण है कि जब ओसामा को प्रत्याशी बनाने की बात हुई तो उन्होंने अपनी सीट छोड़कर ओसामा के साथ चुनाव प्रचार में लग गए हैं।
रघुनाथपुर विधानसभा में यादव, राजपूत और मुस्लिम बहुल सीट है। ये जिसका समर्थन कर दे उनकी जीत पक्की मानी जाती है। इस सीट पर ओसामा को आरजेडी के माई समीकरण के साथ साथ शहाबुद्दीन के साथ राजपुत परिवार के रिश्ते पर भी भरोसा है। इसी कारण ओसामा ने अपना राजनीतिक करियर की शुरूआत के लिए इस विधानसभा को चुना।
Updated on:
29 Oct 2025 11:41 pm
Published on:
29 Oct 2025 11:23 pm
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