Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

एल्युमीनियम एक्सट्रूजन उद्योग में उत्तर भारत एक महत्वपूर्ण खिलाड़ी के रूप में उभरा

10 से 13 सितंबर तक नई दिल्ली में आयोजित होने वाली ALUMEX इंडिया 2025 इवेंट में इस उद्योग में उत्तर और मध्य भारत के बढ़ते महत्व पर विशेष ध्यान केंद्रित किया जाएगा

2 min read

10 से 13 सितंबर तक नई दिल्ली में आयोजित होने वाली ALUMEX इंडिया 2025 इवेंट में इस उद्योग में उत्तर और मध्य भारत के बढ़ते महत्व पर विशेष ध्यान केंद्रित किया जाएगा

जयपुर. उत्तर भारत अपने विस्तारित औद्योगिक केंद्रों और रणनीतिक स्थान के साथ भारत के एल्युमीनियम एक्सट्रूज़न उद्योग का मुख्य आधार स्तंभ बन गया है। दिल्ली-NCR में तेज़ी से विकसित हो रहा औद्योगिक पारिस्थितिकी तंत्र, राजस्थान के इंजीनियरिंग क्लस्टर, हरियाणा का ऑटोमोबाइल हब और उत्तर-प्रदेश एवं मध्य-प्रदेश में वाइब्रन्ट रियल एस्टेट सेक्टर, इस पूरे क्षेत्र को एल्युमीनियम आपूर्ति श्रृंखला का एक अनिवार्य हिस्सा बना रहे हैं। इस पूरे क्षेत्र में, विशेषतः बुनियादी ढांचे, निर्माण और सौर पैनल निर्माण क्षेत्रों में एल्युमीनियम एक्सट्रूज़न की खपत सबसे ज्यादा है। एल्युमीनियम एक्सट्रूज़न मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (ALEMAI) द्वारा आयोजित ALUMEX इंडिया 2025 प्रदर्शनी में उत्तर और मध्य भारत के बढ़ते महत्व पर विशेष ध्यान केंद्रित किया जाएगा। भारत का पहला और एकमात्र समर्पित, एल्युमीनियम एक्सट्रूज़न प्लेटफ़ॉर्म,यह एक्सपो 10 से 13 सितंबर तक नई दिल्ली में आयोजित होगा। इस मेगा इवेंट में एल्युमीनियम मूल्य श्रृंखला के विभिन्न क्षेत्रों से 200 से अधिक प्रदर्शक और 12,000 से अधिक बिज़नेस विजीटर्स भाग लेंगे। ALEMAI के अध्यक्ष जितेंद्र चोपड़ा ने कहा कि, उत्तर भारत, भारत में एल्युमीनियम एक्सट्रूज़न उद्योग का सबसे बड़ा निर्माता और बाजार है। यह क्षेत्र घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय दोनों बाज़ारों की सेवा के लिए उपयुक्त है। "ALUMEX इंडिया 2025" के माध्यम से, हमारा लक्ष्य इस उद्योग से जुड़ी उत्तर भारत की खूबियों को उजागर करना, सहयोग के अवसर पैदा करना और इस क्षेत्र के सामने आने वाली चुनौतियों का अनुकूल समाधान करना है।
विकास की असीम संभावनाओं के बावजूद, आज एल्युमीनियम एक्सट्रूज़न उद्योग को गंभीर चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है। बॉक्साइट के अपने खुद के भंडार के साथ दुनिया के तीसरे सबसे बड़े एल्युमीनियम उत्पादक होने के बावजूद, भारत में कच्चे माल की कीमतें अत्यधिक अस्थिर हैं। इस उद्योग की रीढ़, घरेलू एमएसएमई सेक्टर आज मुक्त व्यापार समझौते (FTA) में रियायतों, चीन, वियतनाम, मलेशिया, इंडोनेशिया और कंबोडिया जैसे आसियान देशों से सस्ते आयात के दबाव में संघर्ष कर रहा हैं। इसके अलावा ताज़ा अमेरिकी टैरिफ मुद्दों ने इस तनाव को और भी बढ़ा दिया है।