Hamare Shikshak App: अतिथि शिक्षकों ने आरोप लगाया है कि 'हमारे शिक्षक' ऐप से डेटा लीक हो रहा है। शिक्षकों की संवेदनशील जानकारी पाकिस्तान तक पहुंच रही है। आइजी ग्रामीण और विदिशा विधायक को ज्ञापन देकर अतिथि शिक्षकों ने कहा कि शिक्षा विभाग द्वारा शिक्षकों की उपस्थिति दर्ज करने के लिए जिस पोर्टल का उपयोग किया जा रहा है, उसने सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। यह पोर्टल न केवल शिक्षकों की निजी जानकारी एकत्र करता है, बल्कि उसे विदेशी सर्वर पर स्टोर भी करता है। यह डेटा पाकिस्तान जैसे शत्रु देश के हाथों में जाने का खतरा है। (personal data leak)
ज्ञापन के अनुसार शिक्षा विभाग ने ई-अटेंडेंस दर्ज कराने के लिए एक मोबाइल ऐप लागू किया है। जिसमें शिक्षकों से उनका नाम व चेहरा, माता-पिता का नाम, जन्मतिथि, आधार कार्ड, स्थान की जानकारी, स्कूल का नाम, आधार से लिंक समग्र आईडी, खाता क्रमांक जैसे निजी दस्तावेज भी फीड हैं। विदिशा के अतिथि शिक्षकों ने विधायक के माध्यम से जापन को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव तक पहुंचाकर हकीकत से रुबरु कराने को कहा है।
हमारे शिक्षक ऐप से चार लाख से अधिक सरकारी कर्मचारियों और लाखों छात्रों की सुरक्षा पर खतरा मंडरा सकता है। ज्ञापन में बताया कि कंपनी के हुनैद हसन डायरेक्टर ऑफ इंजीनियरिंग मूल रूप से पाकिस्तानी, अब्दुल्ला अबुल हुसैन सॉफटवेयर इंजीनियर मूल रूप से बांग्लादेशी, वायन ही चीफ टेक्नोलॉजी ऑफिसर मूल मूल रूप से चीनी, टायलर ली अकाउंट एक्जीक्यूटिव मूल रूप से चीनी हैं।
अतिथि शिक्षकों (guest teachers) ने सीएम से मांग की है कि हमारे शिक्षक ऐप को तत्काल बंद किया जाए और जिन शिक्षकों का डेटा पहले से अपलोड हो चुका है। उसे जल्दी डिलीट किया जाए। साथ ही भविष्य में इस तरह के ऐप को लागू करने से पहले साइबर सुरक्षा की पूरी जांच की जाए।
अतिथि शिक्षकों ने ज्ञापन सौंपकर हमारे शिक्षक ऐप से डेटा लीक होने की जानकारी दी है। मुख्यमंत्री तक अतिथि शिक्षकों की यह बात पहुंचाई जाएगी।- मुकेश टंडन, विधायक, विदिशा
Updated on:
02 Aug 2025 03:00 pm
Published on:
02 Aug 2025 02:50 pm