सुकमा . जिले के जगरगुंडा थाना क्षेत्र में पुलिस और नक्सलियों के बीच हुए मुठभेड़ में 3 जवान शहीद हो गए। साथ ही मुठभेड़ में 5 से 6 नक्सलियों के मारे जाने का दावा पुलिस के द्वारा किया जा रहा है। इस घटना में बाद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने शहीदों के परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि जवानों की शहादत व्यर्थ नहीं जाएगी।
प्राप्त जानकारी के अनुसार शनिवार की सुबह करीब 8 बजे डीआरजी जवानों की पार्टी सर्चिंग के लिए जगरगुंडा से कुन्देड़ के लिए रवाना हुई थी। इस दौरान जगरगुंडा से करीब डेढ़ से 2 किमी दूर जवानों की पार्टी आगे बढ़ रही थी इस दौरान घात लगाकर बैठे नक्सलियों के द्वारा बाइक से सर्चिंग करते हुए जा रहे जवानों पर अंधाधुंध गोली बारी शुरू कर दी। नक्सलियों द्वारा जवानों पर अचानक गोलीबारी होता देख मौके पर मोर्चा संभालते हुए नक्सलियों की गोलीबारी का जवाबी कार्रवाई शुरू की। दोनों ओर से करीब 1 घंटे से अधिक समय तक मुठभेड़ चलता। वहीं भीषण गोलीबारी की चपेट में आने से डीआरजी कमांडर एएसआई रामूराम नाग, सहायक आरक्षक कुंजाम जोगा, वंजाम भीमा शहीद हो गए। इस मुठभेड़ के बाद शहीद जवानों की एक एके-47 रायफल, एक 51 एमएम मोर्टार लूट कर ले जाने की खबर है।
नक्सलियों के एंबुश में फंसे जवान फिर जवानों की बैकप टीम पहुंची – जगरगुंडा थाना से डीआरजी जवानों की पांच टीम दो टुकड़ियों अलग-अलग दिशा के लिए रवाना हुई। जिसमें डीआरजी टीम कामाराम के लिए रवाना हुए। दूसरी डीआरजी टीम कुन्देड़ की ओर रवाना हुई। जगरगुंडा कुन्देड़ की ओर जा रही डीआरजी जवानों की टीम बाइक से सर्चिंग करते हुए आगे बढ़ रही थी इस दौरान घात लगाए नक्सलियों ने जवानों पर अंधाधुंध गोलियां बरसाना शुरू कर दी। डीआरजी कमांडर एएसआई रामूराम नाग को हाथ में गोली लगने से वे बाइक से गिर गए और नक्सलियों गोलियों से गंभीर रूप से घायल हुए। नक्सलियों से चारों ओर किए गए हैवी फायरिंग की चपेट में आ कर शहीद हो गए। नक्सलियों के फायरिंग से कुंजाम जोगा, वंजाम भीमा भी गंभीर रूप से घायल हो गए थे। यह दोनों भी कुछ समय पश्चात शहीद हो गए। वहीं फायरिंग की आवाज सुनकर कामाराम की ओर निकली टीम भी कुन्देड़ की ओर बैकअप के रूप में पहुंची। जिसके बाद डीआरजी जवानों को भारी पड़ता देख नक्सली मौके से पीछे हटे। जिसके बाद शहीद जवानों को लेकर जगरगुंडा थाना लाया गया।
जगरगुंडा और चिंतलनार के रहने वाले जवान – इस मुठभेड़ में शहीद जवान जिले के ही जगरगुंडा और चिंतलनार के जवान है। मुठभेड़ में डीआरजी कमांडर एएसआई रामूराम नाग, जगरगुंडा के निवासी है, सहायक आरक्षक वंजाम भीमा, चिंलानार के मरकागुड़ा निवासी है। सैनिक कुंजाम भीमा जगरगुंडा निवासी शहीद हुए है। कमांडर एसआई रामूराम नाग का एक 11 वर्ष का पुत्र और पत्नी है, जो कि दोरनापाल में रहते हैं। मरकागुड़ा के शहीद वंजाम भीमा के पिता को भी दो वर्ष पूर्व नक्सलियों ने हत्या कर दी थी। मेटागुड़ा के रहने वाले कुंजाम जोगा की पत्नी के अलावा पांच छोटे छोटे बच्चे है। वहीं तीनों शहीद जवान स्थानीय है, इस घटना के बाद से गांव में मातम छाया हुआ है।
एसपी सुनील शर्मा ने बताया कि नवीन कैम्प कुन्देड़ और बेदरे स्थापित हुई है। जिसके लिए समय-समय पर सड़क निर्माण एवं एरिया डोमिनेशन के लिए डीआरजी जवानों की पार्टी सर्चिंगली निकलती है, इसी क्रम में डीआरजी जवानों की पार्टी निकली हुई थी इस दौरान जगरगुंडा से कुन्देड़ जाने के दौरान नक्सलियों के पीएलजीए पार्टी के द्वारा जवानों पर हमला कर दिया। जिसकी चपेट में आने से डीआरजी के 3 जवान शहीद हुए हैं। इस मुठभेड़ में 7 से 8 नक्सलियों के मारे जाने की खबर है। इस घटना के बाद इलाके में सर्चिंग अभियान तेज कर दी गई है।