राजस्थान के सीकर के नागवा गांव के सशस्त्र सीमा बल में तैनात शहीद राजेंद्र बगड़िया का पार्थिव देह रविवार सुबह धोद थाने पहुंची। जहां से सेना के वाहन में शहीद के पार्थिव देह को ससम्मान रखकर ग्रामीणो और युवाओं ने पैतृक गांव नागवा तक करीब 10 किलोमीटर की तिरंगा यात्रा निकाली।
तिरंगा यात्रा के दौरान पूरा धोद इलाका भारत मां के जयकारों से गूंज उठा। शहीद की पार्थिक देह घर पहुंचते ही कोहराम मच गया। पर्थिक देह के दर्शन करते हुए मां और पत्नी बेसुध हो गई। जहां पारिवारिक रस्म निभाने के बाद शहीद राजेंद्र बगड़िया का सैनिक सम्मान से अंतिम संस्कार हुआ। इस दौरान शहीद को श्रद्धांजलि और पुष्पचक्र अर्पित करने के लिए सशस्त्र सीमा बल के सैन्य अधिकारी और जवान भी मौजूद रहे।
इस दौरान एडीएम रतन कुमार, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक नीरज पाठक्र, पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा, धोद विधायक गोरधन वर्मा, कांग्रेस जिला अध्यक्ष सुनीता गठाला आदि ने भी शहीद को नमन किया। गौरतलब है कि जवान राजेंद्र बगड़िया जम्मू-कश्मीर में ड्यूटी के दौरान शनिवार सुबह पहाड़ी इलाके में पैर फिसलने से शहीद हो गए।
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जवान राजेंद्र बगड़िया जम्मू कश्मीर के डोडा के गंडोह इलाके में सशस्त्र सीमा बल की सातवीं बटालियन में तैनात रहे। जवान राजेंद्र बगड़िया सशस्त्र सीमा बल में 2012 में भर्ती हुए थे। शहीद के पिता रामनिवास बगड़िया गांव में ही खेती का काम करते हैं। वहीं माता भंवरी देवी गृहणी है और छोटा भाई नरेंद्र वर्तमान में विदेश में काम करता है। शहीद राजेंद्र बगड़िया के दो बेटियां और एक बेटा है।
Published on:
03 Aug 2025 06:20 pm