राजसमंद. मानसून के दौरान प्रदेश के कई इलाकों में विद्यालय भवनों की छतें गिरने की घटनाओं ने छात्रों और अभिभावकों की चिंता बढ़ा दी है। इसी को ध्यान में रखते हुए मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी (CDEO) घनश्याम लाल गौड़ ने मंगलवार को श्री बालकृष्ण उच्च माध्यमिक विद्यालय कांकरोली में प्रार्थना सभा के दौरान छात्रों और स्टाफ को भरोसा दिलाया कि जिले में सुरक्षा को लेकर कोई कोताही नहीं बरती जाएगी। उन्होंने बताया कि जिले के सभी विद्यालय भवनों के मरम्मत व रखरखाव के लिए समग्र शिक्षा अभियान के तहत आवश्यक बजट पहले ही जारी कर दिया गया है। सुरक्षा में लापरवाही पाए जाने पर जिम्मेदारों पर कार्रवाई तय है।
प्रार्थना सभा के बाद सीडीईओ ने विद्यालय प्रबंधन एवं स्टाफ के साथ बैठक लेकर स्कूल भवन की स्थिति की जानकारी ली। स्टाफ ने सामने के भवन को जर्जर और असुरक्षित बताया, जिस पर गौड़ ने तत्काल प्रधानाचार्य को निर्देश दिए कि वह इस भवन को गिराने का प्रस्ताव तैयार कर भिजवाएं।
मंगलवार सुबह साढ़े सात बजे ही विद्यालय पहुंच गए सीडीईओ गौड़ ने शिक्षकों के देर से आने पर नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि शिक्षक स्वयं समय के पाबंद नहीं होंगे तो विद्यार्थी उनसे क्या सीखेंगे? उन्होंने विद्यालय स्टाफ को समय पालन के निर्देश देते हुए कहा कि भविष्य में किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी ने मंगलवार को नाथद्वारा स्थित महात्मा गांधी राजकीय विद्यालय सिंहाड़ का भी निरीक्षण किया। यहां उन्होंने संस्था प्रधान और स्टाफ के साथ भवन की छत का जायजा लिया। छत पर उग आई घास-फूस और पौधों को तुरंत हटाने के निर्देश दिए ताकि ये किसी भी तरह की असुरक्षा का कारण न बनें। उन्होंने दोहराया कि किसी भी हालात में बच्चों को जर्जर या खतरे वाले कमरों में न बैठाया जाए। सीडीईओ गौड़ ने नाथद्वारा के पीएम श्री राउमावि बड़ा बाजार पहुंचे यहां राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 पर आयोजित ऑनलाइन कार्यशाला का अवलोकन किया।सनवाड़ में नए कमरे बनाने के निर्देश
मंगलवार दोपहर सीडीईओ ने राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय सनवाड़ का भी दौरा किया। यहां नगर परिषद क्षेत्र के विद्यालय भवनों के भौतिक सत्यापन के लिए नियुक्त सहायक अभियंता गिरिराज माली, संस्था प्रधान प्रवीण पहाड़िया और शिक्षकों से चर्चा की। उन्होंने कहा कि जर्जर भवनों के लिए मुख्य ब्लॉक शिक्षा अधिकारी के माध्यम से तुरंत प्रस्ताव भिजवाया जाए और किसी भी हाल में विद्यार्थियों को टपकती छतों या असुरक्षित कमरों में न बैठाया जाए।
Updated on:
30 Jul 2025 03:17 pm
Published on:
30 Jul 2025 03:16 pm