Delhi Assembly Phansi Ghar: देश की राजधानी दिल्ली में इन दिनों 'फांसीघर' का विवाद बढ़ता ही जा रहा है। विधानसभा सत्र के दूसरे दिन 'फांसीघर' के मुद्दे पर हंगामा हुआ। दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष विजेंद्र गुप्ता ने मंगलवार को विधानमंडल का 1912 का एक नक्शा साझा किया और विधायकों को बताया कि पिछली सरकार ने एक कमरे को गलती से फांसीघर बता दिया था।
विजेंद्र गुप्ता ने आगे कहा कि नेशनल आर्काइव से जब दिल्ली विधानसभा के बिल्डिंग का ऐतिहासिक नक्शा देखा तब पता चला कि जिसे फांसीघर बताकर आम आदमीं पार्टी के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष ने उसका उद्घाटन करवा दिया था वो फांसीघर नहीं था बल्कि टिफिन रूम की लिफ्ट थी।
परिसर में फांसीघर की पट्टिका लगाने के गलत फैसले के बारे में भाजपा के मुख्य सचेतक अभय वर्मा द्वारा उठाए गए मुद्दे पर प्रतिक्रिया देते हुए, अध्यक्ष ने एक बयान जारी कर इस संदेह को दूर किया कि शहर के सबसे पुराने लोकतंत्र के केंद्र में औपनिवेशिक शासन के दौरान फांसीघर था। बाद में भाजपा सदस्य अजय महावर ने पट्टिका हटाने की मांग की।
विजेंद्र गुप्ता ने कहा कि जहां विचार-विमर्श होता है, वहां संसद है; जहां विधानसभा है- उसी परिसर में फांसीघर कैसे हो सकता है? यह एक स्वाभाविक प्रश्न है। उन्होंने कहा कि जिस स्थान को अब फांसीघर के रूप में प्रचारित किया जा रहा है, वह कोई मामूली बात नहीं है- यह इस पूरे संस्थान की गरिमा से जुड़ा है।
Published on:
05 Aug 2025 09:31 pm