पूर्व सांसद एसटी हसन ने पूछा कि क्या आम नागरिकों को अधिकार है कि वह किसी दुकानदार की पैंट उतरवाकर चेक करें? उन्होंने पैंट उतारने वाले लोगों की तुलना पहलगाम आतंकियों से की।
समाजवादी पार्टी के नेता एसटी हसन ने कहा, "कांवड़ रूट को लेकर सरकार का आदेश है कि नेम प्लेट लगाई जाए। मैं सरकार के इस निर्णय से सहमत भी हूं। इस्लाम कभी ये नहीं सिखाता है कि आप अपनी पहचान छिपाकर कारोबार करें। हालांकि, ऐसे फैसलों को लागू करने का काम प्रशासन का होता है, लेकिन मैं पूछना चाहता हूं कि क्या आम नागरिकों को अधिकार है कि वह किसी दुकानदार की पैंट उतरवाकर चेक कर सकते हैं? क्या पहलगाम में आतंकियों ने पैंट नहीं उतरवाई थी? ऐसा करने वाले और पहलगाम के आतंकियों में क्या अंतर रह गया? मैंने जो बात कही है, उसमें क्या गलत है? क्या ऐसा करने वालों के खिलाफ कार्रवाई नहीं होनी चाहिए, जो इस तरह की हरकतें कर सांप्रदायिक सौहार्द को बिगाड़ रहे हैं?"
एसटी हसन ने आगे कहा, "हिंदू-मुस्लिमों के बीच दरार पैदा करने की कोशिश की जा रही है। हजारों साल से हमारे बीच एकता बनी हुई है। लेकिन इस सौहार्द को वोटों की खातिर बिगाड़ने का काम किया जा रहा है।"
आईसीएमआर और एम्स ने कोविड-19 वैक्सीन को लेकर अफवाहों को खारिज किया है। इस पर पूर्व सपा सांसद एसटी हसन ने कहा, "अगर वे ऐसा कह रहे हैं तो यह बहुत अच्छी खबर है। अगर कोविड की वजह से मौतें नहीं हुई हैं तो यह अच्छी बात है। सामान्य डॉक्टर भी समझते हैं कि दिल की समस्या बढ़ रही है, जो कोविड के बाद से काफी बढ़ गई है। अगर यह रिपोर्ट सामने आई है तो हमें खुशी है कि हमारे लोग सुरक्षित रहेंगे, लेकिन यह कार्डियोमायोपैथी अचानक क्यों हो रही है, इसका कारण भी स्पष्ट होना चाहिए।"
Published on:
02 Jul 2025 03:24 pm