
मायावती के पास है सत्ता में लौटने का 'राम बाण' फॉर्मूला! फोटो सोर्स-पत्रिका न्यूज
UP Politics: बहुजन समाज पार्टी (BSP) की सुप्रीमो मायावती ने 2027 के विधानसभा चुनाव में जीत का फॉर्मूला मुस्लिम भाईचारा कमेटी की बैठक के दौरान बताया।
बैठक में उन्होंने कहा कि दलितों का लगभग 20% और मुस्लिमों का 19% वोट मिलकर एक मजबूत विनिंग कॉम्बिनेशन बनाया जा सकता है। मायावती का मानना है कि मुस्लिम और दलित वोट बैंक का एकजुट होना ही चुनावी में सफलता दिला सकता है।
BSP की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने बुधवार को मुस्लिम भाईचारा संगठन के साथ बैठक की। इस दौरान उन्होंने हर मंडल में 2-2 सदस्यों की मुस्लिम भाईचारा कमेटी बनाई है। जो मुस्लिम समाज में जाकर बैठक करेंगे। उन्हें पार्टी से जोड़ेंगे। साथ ही उन्हें सदस्य बनाएंगे।
BSP प्रमुख मायावती ने कहा कि बसपा जाति और धार्मिक द्वेष के आधार पर तोड़े, सताए और पछाड़े जा रहे लोगों के बीच आपसी भाईचारा के आधार पर उन्हें जोड़ने के लिए समर्पित है। उन्होंने कहा कि मुस्लिम समाज की एकजुटता का समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के बजाय, BSP को सीधे ही समर्थन करना जरूरी है जिससे BJP की घातक राजनीति को चुनाव में हराया जा सके। मुस्लिम समाज के एकतरफा समर्थन और वोट देने के बावजूद SP-BJP को हराने में विफल रही। यह चुनावी अनुभव से है।
BSP प्रमुख कहा कि बसपा ही वह पार्टी है जो संविधान निर्माता डॉ. अंबेडकर के आदर्शों पर चलकर समाज के सभी वंचित वर्गों—दलित, आदिवासी, पिछड़े, मुस्लिम, और अन्य अल्पसंख्यकों के अधिकारों और सम्मान की रक्षा के लिए संघर्ष कर रही है।
मायावती ने कार्यकर्ताओं से कहा कि वे गांव-गांव जाकर मुस्लिम समाज के बीच पार्टी की नीतियों को समझाएं। साथ ही बताएं कि BSP ही वह राजनीतिक ताकत है जो सबको समान अवसर और सम्मान देने की गारंटी देती है। बैठक में यह भी तय हुआ कि सभी जिलाध्यक्ष, मंडल प्रभारी और संगठन के पदाधिकारी आगामी विशेष मतदाता सूची पुनरीक्षण अभियान (SIR) के तहत सक्रिय भागीदारी करें। उन्होंने निर्देश दिया कि प्रत्येक समर्थक का नाम मतदाता सूची में दर्ज कराया जाए। जिससे कोई भी पात्र मतदाता मतदान से वंचित न रहे।
Published on:
30 Oct 2025 12:37 pm
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