Kanker News: कोयलीबेड़ा ब्लॉक के कड़मे और कन्दाड़ी इलाके के ग्रामीण आज भी बुनियादी सुविधाओं के लिए जूझ रहे हैं। बारिश के मौसम में इलाके की हालत और खराब हो जाती है। इलाके के लोग शिक्षा, सेहत से लेकर रोजगार तक के लिए ब्लॉक मुख्यालय कोयलीबेड़ा पर आश्रित हैं। (Kanker News) यहां जाने के 2 रास्ते हैं। पहला 15-20 किमी लंबा और दूसरा दो-ढाई किमी का शॉर्टकट रास्ता। इसी शॉर्टकट रास्ते पर नदी बहती है, जो अभी पूरे उफान पर है। पहले ही संसाधनों से विहीन ग्रामीण शिक्षा, सेहत और रोजगार के लिए मजबूरी में इस उफनती नदी को बिना सुरक्षा पार करने के लिए मजबूर हैं।
ग्रामीण हरसिंग मंडावी, पुरषोत्तम गावड़े, रमन कुंजाम और आत्माराम नेताम ने बताया कि हर साल बारिश के वक्त नदी पार करते हुए कई हादसे होते हैं। फिर भी जरूरी सामान जैसे खाद, बीज और रोजमर्रा की चीजें इन्हीं खतरनाक रास्तों से लानी-ले जानी पड़ती हैं। कंदाड़ी गांव के संतोष पटेल, असित पटेल, दशरथ वड्डे, गंभीर पटेल, मानिक पटेल और बीरसिंग ने बताया कि बारिश के दिनों में उन्हें ब्लॉक मुख्यालय पहुंचने के लिए आमतौर पर 3 किमी की दूरी की बजाय 15 से 20 किमी तक का चक्कर लगाना पड़ता है।
इससे न सिर्फ समय बर्बाद होता है, बल्कि अतिरिक्त खर्च भी उठाना पड़ता है। हाल ही में पोरोंडी गांव का एक ग्रामीण नदी पार करते समय बह गया। उसकी मौत हो गई। घटना ने पूरे इलाके को हिला दिया है। अब लोग हर दिन नदी पार करते समय डर के साए में जी रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि उन्होंने प्रशासन से कई बार पुल निर्माण की मांग की है। आज तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। लोगों को उम्मीद है कि अब तो शासन और प्रशासन इस गंभीर समस्या पर ध्यान देगा और जल्द ही पुल निर्माण की प्रक्रिया शुरू होगी।
Published on:
05 Aug 2025 02:49 pm