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‘गंगा वरण’ के बाद अष्टम प्रहर श्रीश्री हरिनाम संकीर्तन महायज्ञ कल से होगा प्रारंभ

जगदलपुर। बंगीय समाज के द्वारा हर साल की भांति अष्टम प्रहर श्रीश्री हरिनाम संकीर्तन किया जा रहा है, जिसके पहले दिन बुधवार को ‘गंगा वरण’ विधान में कीर्तन मंडली के साथ बड़ी संख्या में समाज की महिलाओं ने महादेव घाट पहुंचकर इंद्रावती नदी की पूजा की। यहां से कलश में जल लेकर सभी महिलाएं वापस कार्यक्रम स्थल बंगीय समाज भवन पहुंची। इसके उपरांत शाम 6 बजे से रात 10 बजे तक बंगीय समाज भवन में अधिवास कीर्तन का आयोजन किया गया। जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने कीर्तन का आनंद लिया।

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‘गंगा वरण’ के बाद अष्टम प्रहर श्रीश्री हरिनाम संकीर्तन महायज्ञ कल से होगा प्रारंभ

जगदलपुर। ‘गंगा वरण’ पूजन कार्यक्रम में बड़ी संख्या में समाज की महिलाओं ने महादेव घाट पहुंचकर इंद्रावती नदी की पूजा की।

अष्टम प्रहर श्रीश्री हरिनाम संकीर्तन के बारे में बंगीय समाज के अध्यक्ष मनोरंजन राय और महासचिव मानिक वेदज्ञ ने बताया कि तीन दिवसीय अष्टम प्रहर श्रीश्री हरिनाम संकीर्तन महायज्ञ से पूर्व ‘गंगा वरण’ विधान पूर्ण किया जा चुका है। इसके उपरांत आज गुरुवार सुबह 6 बजे से अष्टम प्रहर श्रीश्री हरिनाम संकीर्तन महायज्ञ प्रारंभ किया जाएगा। इसके बाद महाभोग (आनंद बाजार) दोपहर 1 बजे होगा, जिसमें भक्तों को प्रसाद वितरण किया जाएगा। वहीं 23 फरवरी शुक्रवार को सुबह 6 बजे संकीर्तन विराम, 7 बजे नगर कीर्तन, दोपहर भोग आरती, महंत विदाय और पदावली किर्तन के उपरांत कार्यक्रम का समापन होगा।

अन्य जिले और राज्य से पहुंची कीर्तन मंडली देंगे प्रस्तुति
बताया गया है कि, इस साल होने वाले श्रीश्री हरिनाम संकीर्तन में चार कीर्तन मंडली अपनी प्रस्तुति देंगे। जिसमें सत्यानन्द सम्प्रदाय पखांजूर पीवाय 16, बीनापानी संप्रदाय नैनीताल, मिताली सम्प्रदाय उमरकोट और जय राधे सम्प्रदाय कोलकाता कीर्तन मंडली शामिल हैं। जिनका समाज के पदाधिकारियों द्वारा सभी स्वागत और सम्मान किया जाएगा।