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जिले में धारा 163 लागू , लाइसेंसी हथियार लेकर निकलने पर भी रोक, कुछ संगठन आए आगे- बोले 15 अक्टूबर को नहीं होगा प्रदर्शन

– पुलिस की थ्योरी सुरक्षा में नहीं होगी ढील और कसा जाएगा सिक्योरिटी का घेरा ग्वालियर. डा. भीमराव आंबेडकर को लेकर समाज के दो वर्गों के बीच पनपे तनाव के बाद कलेक्टर रुचिका चौहान ने जिले में धारा 163 (144 ) लागू कर दी है। लाइसेंसी हथियार लेकर निकलने पर भी रोक है। आदेश की […]

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- पुलिस की थ्योरी सुरक्षा में नहीं होगी ढील और कसा जाएगा सिक्योरिटी का घेरा

ग्वालियर. डा. भीमराव आंबेडकर को लेकर समाज के दो वर्गों के बीच पनपे तनाव के बाद कलेक्टर रुचिका चौहान ने जिले में धारा 163 (144 ) लागू कर दी है। लाइसेंसी हथियार लेकर निकलने पर भी रोक है। आदेश की अनदेखी करने वालों कार्रवाई की जाएगी। इसी बीच त्योहार पर शहर की शांति न बिगड़े इसको लेकर सोशल मीडिया पर लगातार ऐलान कर रहे सामुदायिक और सामाजिक संगठन ने सोमवार शाम को प्रशासन और पुलिस के साथ पुलिस कंट्रोल रूम में बैठक की। इसमें आजाद सामाज पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष सत्येन्द्र विद्रोही,

भीम आर्मी के प्रदेशध्याक्ष सुनील बैरसिया, ओबीसी रुपेश यादव, विजय कुमार इंजीनियर, रमेश सिंह व इनके समर्थक भी शामिल थे, दूसरे पक्ष से कोई नहीं । इन्होंने संभागायुक्त, आइजी, कलेक्टर, डीआइजी व एसएसपी की मौजूदगी में वादा किया है कि जिले में शांति और भाईचारा बनाने के लिए सब एकजुट हैं। 15 अक्टूबर को अब कोई भी संगठन किसी तरह आंदोलन या प्रदर्शन नहीं करेगा।

शहर की सुरक्षा किले जैसी

इस बैठक में दिए गए भरोसे के बाद से शहर में कुछ हद तक तनाव कम हुआ है, लेकिन पुलिस की तरफ से सुरक्षा टाइट और धारा 163 जारी रहेगी। फोर्स को फ्री हैंड दिया गया है।

जिले की किलाबंदी जारी रहेगी। सुरक्षा में 4 हजार से ज्यादा जवान तैनात किए गए हैं। हाइवे से लेकर शहर के अंदर के रास्तों पर 50 चेक पोस्ट बनाए गए हैं। सोमवार दोपहर से निगरानी शुुरु हो गई है। शहर में एंट्री प्वाइंटस पर बेरीकेडिंग लगाकर चेकिंग की जा रही है। नाइट गश्त और थाना स्तर के अलावा रिजर्व बल की टीम पेट्रोलिंग करेगी।

सोशल मीडिया पर 5 हजार एकाउंटस की निगरानी

तनाव की स्थिति को देखते हुए फेसबुक, इंस्टाग्राम, व्हाटसऐप और यूटयूब पर 5 हजार से ज्यादा अकाउंट़्स पर निगरानी हो रही है।

ये है मामला: हाईकोर्ट में डॉ बाबासाहेब की प्रतिमा लगाने का प्रस्ताव रखा गया था। हाईकोर्ट बार एसोसिएशन ने विरोध कर दिया, वहीं दूसरी ओर दूसरा पक्ष बाबासाहेब की प्रतिमा लेकर पहुंच गया। अधिवक्ता व भीम आर्मी आमने सामने आ गए। कोर्ट में प्रतिमा नहीं लगने के चलते माहौल शांत हो गया। इसी बीच प्रतिमा के पक्ष में प्रेस कॉन्फ्रेंस की तो वकील भी विरोध में खड़े हो गए। सोशल मीडिया पर भडक़ाऊ पोस्ट आने के बाद माहौल बिगड़ गया।

पुलिस की तैयारी, सख्ती के आदेश

दोनों वर्ग जिले में सदभाव और शांति बनाए रखने के लिए एकजुट हैं। उन्होंने 15 अक्टूबर को प्रदर्शन से इंकार किया है। हालांकि जिले की सुरक्षा में ढील नहीं होगी। इसे और कसा जाएगा। फोर्स से कहा है कि सडक़ों पर घूमने वालों पर नजर रखो। ढाबे, सराय और सामुदायिक भवनों में रहने वालों की जांच की जा रही है।

धर्मवीर सिंह यादव एसएसपी ग्वालियर