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Ayodhya Ramlala का भव्य तिलकोत्सव: जनकपुर से आएंगे 251 तिलकहार, सोने-चांदी के आभूषणों संग विशेष नेग भी होगा शामिल

Ayodhya Ramlala Tilakotsav: अयोध्या में रामलला के तिलकोत्सव का भव्य आयोजन, नेपाल के जनकपुर से पहुंचेगा 251 लोगों का तिलकहार दल, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी होंगे शामिल।

Ayodhya Bhavya Ramlala Tilakotsav
Ayodhya Bhavya Ramlala Tilakotsav

Ayodhya Ramlala Tilakotsav: अयोध्या में रामलला के भव्य मंदिर में इस बार एक विशेष और दिव्य आयोजन होने जा रहा है, जिसे देखने के लिए देश-विदेश से भक्तों का तांता लगने वाला है। प्रभु श्रीराम के तिलकोत्सव के उपलक्ष्य में नेपाल के जनकपुर से एक विशाल तिलकहार दल 18 नवंबर को अयोध्या पहुंचेगा। इस आयोजन में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भी आमंत्रित किया गया है। रामलला के तिलक के लिए नेपाल के जनकपुर से 251 लोग तीन बसों और 100 चारपहिया वाहनों में अयोध्या आएंगे। इस भव्य कार्यक्रम में तिलकहार दल न केवल विशेष आभूषण, मिष्ठान और फल लेकर आएगा, बल्कि सोने के धनुष-बाण और चांदी के तिलक के साथ भी रामलला का तिलक चढ़ाएगा।

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जनकपुर से यह यात्रा 16 नवंबर को शुरू होगी और रास्ते में गढ़ीमाई मंदिर में एक रात्रि विश्राम के बाद 17 नवंबर को अयोध्या पहुंच जाएगी। 18 नवंबर को तिलकोत्सव का आयोजन किया जाएगा। यह आयोजन अयोध्या और जनकपुर के बीच के संबंधों को और अधिक सुदृढ़ बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। तिलक समारोह की भव्य तैयारियां जोरों पर हैं, जिसमें रामलला के तिलकहार दल के स्वागत के लिए विशेष व्यवस्था की जा रही है। इस कार्यक्रम की अगुवाई विश्व हिंदू परिषद (विहिप) कर रही है, जिसका सहयोग नेपाल की विहिप शाखा भी कर रही है।

अयोध्या और जनकपुर का ऐतिहासिक संबंध

प्रभु श्रीराम और माता सीता के विवाह को लेकर अयोध्या और जनकपुर के बीच ऐतिहासिक संबंध रहे हैं। पौराणिक मान्यता के अनुसार, जनकपुर, जो कि माता सीता का मायका है, से हर साल रामलला के लिए तिलक सामग्री अयोध्या भेजी जाती है। तिलकोत्सव समारोह एक ऐसा पावन आयोजन है, जिसमें जनकपुर के लोग माता सीता के तिलक के सामान और आभूषणों के साथ अयोध्या आते हैं और रामलला का तिलक चढ़ाते हैं। इस बार के समारोह को और भव्य बनाने के लिए जनकपुर के जानकी मंदिर में एक विशेष बैठक हुई, जिसमें तिलकोत्सव के आयोजन की रूपरेखा तय की गई।

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इस बैठक में नेपाल के विहिप नेता रघुनाथ शाह, जानकी मंदिर के महंत राम तपेश्वर दास वैष्णव, जनकपुर के मेयर मनोज शाह, उद्योग वाणिज्य संघ के अध्यक्ष सुरेंद्र भंडारी, राम युवा कमेटी के सरोज शाह और अन्य गणमान्य व्यक्ति शामिल हुए। तय हुआ कि इस वर्ष के तिलकहार में विशेष आभूषण, मिष्ठान, मेवा, फल और नकद राशि शामिल होगी। तिलकहार का सामान एक विशेष ट्रक में लाया जाएगा, जिसमें परिधान, आभूषण और तरह-तरह के पकवान होंगे। इस आयोजन का उद्देश्य अयोध्या और जनकपुर के बीच धार्मिक और सांस्कृतिक संबंधों को और अधिक प्रगाढ़ करना है।

सोने का धनुष-बाण और विशेष नेग

इस बार के तिलकोत्सव में विशेष आकर्षण सोने का धनुष-बाण और चांदी के आभूषण होंगे, जो श्रीराम के तिलक के लिए विशेष रूप से तैयार किए गए हैं। जनकपुर धाम की ओर से रामलला के लिए बहुमूल्य आभूषण और नेग भेजा जा रहा है। इसमें सोने का धनुष-बाण, चांदी के आभूषण और नकद राशि के साथ-साथ अनेक प्रकार के पकवान और मिष्ठान भी शामिल हैं। जानकी मंदिर के उत्तराधिकारी महंत रामरोशन दास वैष्णव का कहना है कि इस आयोजन के माध्यम से अयोध्या और जनकपुर के सांस्कृतिक संबंध और भी मजबूत होंगे।

भव्य तैयारियां और विहिप का सहयोग

अयोध्या में इस भव्य कार्यक्रम के लिए तैयारी जोरों पर है। विहिप के नेतृत्व में इस पूरे आयोजन की योजना बनाई जा रही है। कार्यक्रम की अध्यक्षता विहिप नेपाल धनुषा द्वारा की जा रही है और इसकी रूपरेखा जनकपुर में जानकी मंदिर में की गई बैठक में तय की गई। अयोध्या में इस कार्यक्रम के लिए विशेष पूजा अर्चना का आयोजन भी किया जाएगा।

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इस आयोजन के दौरान 251 तिलकहारों का स्वागत अयोध्या की परंपरागत तरीके से किया जाएगा। आयोजन में शामिल होने के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भी निमंत्रण भेजा गया है। विहिप नेता राजेंद्र सिंह पंकज ने बताया कि तिलकोत्सव के इस आयोजन में पूरे नेपाल और भारत के लोगों का सहयोग मिल रहा है और सभी की सहभागिता सुनिश्चित करने के लिए विशेष व्यवस्थाएं की जा रही हैं।

जनकपुर से तीन ट्रकों में तिलक सामग्री

जनकपुर से तीन ट्रकों में तिलक का सामान भरकर लाया जा रहा है। इसमें तिलक सामग्री के रूप में आभूषण, फल, मिष्ठान, परिधान, मेवा, और नकद राशि शामिल हैं। यह आयोजन एक प्रकार से रामायणकालीन परंपराओं का पुनर्जीवन है, जिसमें श्रीराम और माता सीता के विवाह के समय की झलक दिखाई देती है। विहिप के सहयोग से इस पूरे कार्यक्रम को अयोध्या में भव्य रूप से संपन्न किया जाएगा।

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यह पहली बार है जब इस आयोजन में इतनी भव्यता लाई जा रही है। इसके अलावा, जनकपुर के मेयर मनोज शाह ने बताया कि इस आयोजन से अयोध्या और जनकपुर के बीच के धार्मिक और सांस्कृतिक संबंध और भी अधिक मजबूत होंगे। इस आयोजन से जुड़ी सभी व्यवस्थाओं को सुचारू रूप से करने के लिए विभिन्न समितियों का गठन किया गया है। यह आयोजन न केवल नेपाल बल्कि भारत के लिए भी एक ऐतिहासिक क्षण है, जहां श्रीराम और माता सीता के पवित्र बंधन का प्रतीक यह आयोजन संपन्न होगा।

भावी आयोजनों के लिए एक प्रेरणा

रामलला के इस तिलकोत्सव से यह उम्मीद है कि आने वाले वर्षों में अयोध्या और जनकपुर के बीच सांस्कृतिक आदान-प्रदान और बढ़ेगा। विहिप के इस कार्यक्रम को लेकर अयोध्या में व्यापक रूप से तैयारियां हो रही हैं। अयोध्या और जनकपुर के बीच के इस संबंध को और अधिक मजबूत बनाने के लिए स्थानीय लोगों और संत समाज का भी सहयोग मिल रहा है।